वेटिकन सिटी, 26 अप्रैल: कैथोलिक ईसाइयों के धर्मगुरु पोप फ्रांसिस का अंतिम संस्कार वेटिकन सिटी में सम्मान के साथ संपन्न हो गया। दुनियाभर के नेता और हजारों श्रद्धालु उन्हें विदाई देने पहुंचे। भारत की ओर से राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने वेटिकन पहुंचकर सेंट पीटर्स बेसिलिका में पोप के पार्थिव शरीर को श्रद्धांजलि दी। उनके साथ अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री किरेन रीजीजू भी उपस्थित रहे। पोप फ्रांसिस का निधन 21 अप्रैल को 88 वर्ष की उम्र में हुआ था। वे लंबे समय से स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं से जूझ रहे थे। स्ट्रोक और हार्ट फेल होने के कारण उन्होंने अंतिम सांस ली। उनके पार्थिव शरीर को अंतिम दर्शन के लिए सेंट पीटर्स बेसिलिका में रखा गया था। अंतिम दर्शन के बाद बंद हुआ ताबूत मंगलवार शाम को अंतिम दर्शन का समय समाप्त होने के बाद पोप का ताबूत बंद कर दिया गया। बुधवार, 26 अप्रैल को भव्य अंतिम संस्कार समारोह के बाद उन्हें उनके इच्छित स्थान सांता मारिया मैगीगोर बेसिलिका, रोम में दफनाया गया। वे 100 साल में पहले ऐसे पोप बने, जिन्हें वेटिकन के बाहर दफनाया गया है। कौन थे पोप फ्रांसिस? पोप फ्रांसिस, जिनका असली नाम ज...
हम न किसी राजनीतिक दबाव में काम करते हैं, न किसी कॉर्पोरेट एजेंडा के तहत। हमारा एकमात्र उद्देश्य है — जनता का विश्वास और देश का हित।